दिल्ली सरकार के महिला एवं बाल विकास विभाग ने दिल्ली में महिला उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए दिल्ली स्किल एंड एंटरप्रेन्योरशिप यूनिवर्सिटी (डीएसईयू) के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) साइन किया है। ये ज्ञापन दिल्ली के महिला एवं बाल विकास मंत्री कैलाश गहलोत, डब्ल्यूसीडी निदेशक और डीएसईयू रजिस्ट्रार की उपस्थिति में साइन किया गया। डब्ल्यूसीडी की ओर से इसके अंतर्गत "समृद्धि परियोजना" योजना शुरू किए जाने की बात कही गयी है, जिसका उद्देश्य दिल्ली में मौजूदा और नई महिला उद्यमियों को महिला एवं बाल विकास विभाग के सहेली समन्वय केंद्र आंगनवाड़ी हब के मंच का उपयोग करके अपना काम शुरू करने के लिए प्रशिक्षित करना है। 

 इसकी मुख्य विशेषताएं

1। महिला उद्यमियों के लिए प्रशिक्षण सह व्यवसाय इन्क्यूबेशन केंद्र के रूप में 120 आंगनवाड़ी हब केंद्र का उपयोग किया जाएगा।

2। महिला माइक्रो उद्यमिता कार्यक्रम के लिए दिल्ली में आंगनवाड़ी हब केंद्र विकसित किए जायंगे।

3। कार्यक्रम के तहत 100 महिला माइक्रो उद्यमशीलता उद्यमों का सपोर्ट किया जाएगा।

4। आर्थिक रूप से सशक्त करने के लिए 2500 से ज्यादा  महिलाओं की आंगनबाड़ियों में कैपेसिटी बिल्डिंग की जायेगी।

इसके साथ ही इस समझौता ज्ञापन के तहत आंगनवाड़ी हब के सहेली समन्वय केंद्र मंच का उपयोग करके महिला उद्यमियों को ट्रेनिंग प्रदान की जाएगी, जिसमें कौशल प्रशिक्षण प्रदान करना, बाजार से जुड़ाव स्थापित करना, विभिन्न सरकारी योजनाओं और कार्यक्रमों का लाभ उठाना, प्रौद्योगिकी का उपयोग करने के लिए उन्हें सशक्त बनाना, संसाधनों तक पहुंच के माध्यम से महिलाओं के नेतृत्व वाले स्टार्ट-अप को बढ़ावा देना आदि शामिल है। 

इस मौके पर महिला एवं बाल विकास मंत्री कैलाश गहलोत ने कहा “आज हम न केवल महिलाओं को अवसर प्रदान करके उन्हें सशक्त बनाने के लिए, बल्कि उन्हें खुद को और आने वाली पीढ़ियों को सशक्त बनाने के लिए शिक्षित करने के लिए एक महत्वपूर्ण पहल की शुरुआत कर रहे हैं। दिल्ली सरकार रोजगार सृजन पर विशेष ध्यान दे रही है। इस साल के हमारे रोजगार बजट में भी इसपर विशेष जोर दिया गया है।